प्रथम ‘उत्तर प्रदेश दिवस’ का आयोजन

  • वर्तमान उत्तर प्रदेश 24 जनवरी, 1950 को अस्तित्व में आया। परंतु वर्ष 2017 तक उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा कभी भी राज्य दिवस या राज्य स्थापना दिवस का आयोजन नहीं किया गया, जैसा कि देश के अन्य राज्य करते हैं। परंतु वर्ष 2017 में योगी आदित्यानाथ के नेतृत्व वाली भारतीय जनता पार्टी की सरकार बनने के पश्चात प्रतिवर्ष 24 जनवरी को ‘उत्तर प्रदेश दिवस’ मनाने का निर्णय लिया गया।
  • इसी परिप्रेक्ष्य में 24 जनवरी, 2018 को पहला ‘उत्तर प्रदेश’ दिवस का आयोजन हुआ।
  • मुख्य समारोह लखनऊ में आयोजित हुआ जहां उपराष्ट्रपति श्री एम.वेंकैया नायडु ने ‘उत्तर प्रदेश उत्सव’ का उद्घाटन किया। इस उत्सव का मुख्य उद्देश्य राज्य की समृद्ध सांस्कृतिक विरासत, साहित्य, कला रूपों की प्रस्तुति व संवर्द्धन है। उपराष्ट्रपति ने विकास व कल्याण के स्तर पर राज्य को ‘उत्तम प्रदेश’ में परिवर्तित करने का आह्वान किया।
  • प्रथम उत्तर प्रदेश दिवस के अवसर पर राज्य सरकार के 40 विभागों ने 24,000 करोड़ रुपये की परियोजनाओं की घोषणा की।
  • 24 जनवरी ही क्योंः उत्तर प्रदेश को पहले संयुक्त प्रांत के नाम से जाना जाता था। किंतु तत्कालीन गवर्नर जनरल के आदेश से संयुक्त प्रांत (नाम परिवर्तन) आदेश 1950 के द्वारा संयुक्त प्रांत का नाम उत्तर प्रदेश कर दिया गया। इस आदेश को 24 जनवरी, 1950 को राजपत्र में प्रकाशित किया गया। इसलिए 24 जनवरी राज्य का स्थापना दिवस है।

    उत्तर प्रदेश गठन का इतिहास

  • 1775ः नवाब आसफद्दुला ने अवध की राजधानी फैजाबाद से लखनऊ स्थानांतरितकिया
  • 1834ः बंगाल प्रेसिडेंसी से अलग करके चौथे प्रेसिडेंसी के रूप में आगरा प्रेसिडेंसी अस्तित्व में आया।
  • 1858ः लॉर्ड कैनिंग ने उत्तर-पश्चिम प्रांत का गठन किया और इलाहाबाद को मुख्यालय बनाया।
  • 1877ः अवध का विलय होने के पश्चात यह ‘उत्तर पश्चिम प्रांत व अवध’ कहलाया।
  • 1902ः संपूर्ण प्रांत को ‘आगरा अवध का संयुक्त प्रांत’ नाम दिया गया।
  • 1920ः विधान परिषद् का प्रथम चुनाव हुआ।
  • 1921ः विधान परिषद् लखनऊ में स्थानांतरित कर दिया गया।
  • अप्रैल 1937ः राज्य का नाम बदलकर ‘संयुक्त प्रांत’ कर दिया गया।
  • 24 जनवरी, 1950ः संयुक्त प्रांत का नाम बदलकर उत्तर प्रदेश कर दिया गया।

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